Trending Wiki Blog : कोरोना वायरस से लड़ रहे लोगो में अब ब्लैक फंगस के केस बढ़ने लगे हैं। कई जिलों में ब्लैक फंगस के मामले सामने आए हैं। बढ़ रहे मामलों को देखते हुए सरकार ने लोगों के लिए एडवाइजरी जारी की है, इसे ज़्यादा से ज़्यादा शेयर करें, और जरूरतमंद तक पहुचाएं ।
कहां-कहां अटैक करता है?
विशेषज्ञों ने ब्लैक फंगस को लेकर एडवाइजरी जारी की है। विशेषज्ञों ने बताया कि कोविड-19 के बाद ब्लैक फंगस या म्यूकरमाइकोसिस लोगों को घेर रहा है। इस रोग में ब्लैक रंग की फंगस चेहरे, नाक, साइनस, आंख और दिमाग में फैलकर उन्हें नष्ट कर देती है, और मरीजों की जान पर बन आती है।
किसे हो सकता है?
(1) - कोविड के दौरान जिन्हें स्टेरॉयड्स जैसे कि - डेक्सामिथाजोन, मिथाइल, प्रेडनिसोलोन आदि दी गई हों।
(2) - कोविड मरीज को ऑक्सिजन सपॉर्ट पर या आईसीयू में रखना पड़ा हो।
(3) - कैंसर, किडनी, ट्रांसप्लांट आदि की दवाएं चल रही हों।
(4) - डायबिटीज़ का नियंत्रण न हो।
क्या है इसके लक्षण?
(1) - बुखार आना, सर दर्द का होना, खाँसी हो या सांस फूल रही हो।
(2) - आंख में दर्द होना, आंख फूल जाना, एक चीज दो दिख रही हो या दिखना बंद हो जाए।
(3) - नाक बंद होना, नाक में म्यूकस के साथ खून आ रहा हो।
(4) - चेहरे में एक तरफ दर्द हो, सूजन हो या सुन्न हो गया हो, या फिर छूने पर छूने का अहसास भी न हो।
(5) - उल्टी में या खाँसी आने पर बलगम में खून आए।
(6) - दाँत में दर्द होना, दाँत हिलने लगें, चबाने में दाँत दर्द करे।
क्या करें?
यदि आपको ब्लैक फंगस के कोई ऐसे लक्षण नजर आए तो तत्काल सरकारी अस्पताल में या किसी अन्य विशेषज्ञ डॉक्टर को दिखाएं। नाक, कान, गले, आंख, मेडिसिन, चेस्ट या प्लास्टिक सर्जन विशेषज्ञ को तुरंत दिखाएं जिससे जल्दी ही इसका इलाज शुरू हो सके।
सावधानियां
(1) - स्वयं या किसी गैर विषेशज्ञ डॉक्टर के, दोस्त मित्र या रिश्तेदार के कहने पर स्टेरॉइड दवा जैसे कि - डेक्सोना, मेड्रोल इत्यादि, कतई न शुरू करें।
(2) - स्टेरॉइड का प्रयोग विषेशज्ञ डॉक्टर कुछ ही कुछ ही मरीजों को केवल 5 से 10 दिनों के लिए देते है, वो भी बीमारी शुरू होने के 5 से 7 दिनों के उपरान्त।
(3) - ब्लैक फंगस के गंभीर मरीजों को इसके पहले बहुत सी जाँच आवश्यक है।
(4) - ब्लैक फंगस के लक्षण के पहले 5 से 7 दिनों में स्टेरॉइड देने से दुष्परिणाम होते है।
(5) - बीमारी शुरू होते ही स्टेरॉइड शुरू न करें। इससे बीमारी शुरू हो जाती है।
(6) - इलाज शुरू होने पर डॉक्टर से पूछें कि इन दवाओं में स्टेरॉइड तो नहीं है। अगर है, तो ये दवायें मुझे क्यों दी जा रही है? स्टेरॉइड शुरू होने पर विषेशज्ञों के नियमित संपर्क में रहे।
1 Comments
Very useful blogs.thanks to give such information
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